Flash Newsउत्तर प्रदेशब्रेकिंग न्यूज़लखनऊसमाचार
निदेशक,अल्पसंख्यक कल्याण के नेतृत्व में विकास योजनाओं ने पकड़ी रफ्तार,
3 महीने में 350 निर्माणाधीन कार्यों को पूरा किए जाने का लक्ष्य,
- अल्पसंख्यक कल्याण विभाग की ओर से लगभग 1218 कार्य निर्माणाधीन,
- 350 कार्यों पर लगभग 520 करोड़ किऐ जाऐंगे खर्च,
- 3 महीने के अंदर 350 कार्य पूर्ण कर लेने का लक्ष्य,
- 400 करोड़ रुपए कार्यदायी संस्थाओं को अब तक जारी
(हमीद सिद्दीकी, लखनऊ)
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के मार्गदर्शन और अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री धर्मपाल सिंह के निर्देशन में अल्पसंख्यक कल्याण विभाग की 2 महिला आईएएस अफसरों ने विकास योजनाओं के क्रियान्वयन को एक नई रफ्तार दी है । अल्पसंख्यक कल्याण विभाग की अपर मुख्य सचिव मोनिका एस गर्ग और निदेशक जे रीभा के विभाग में पदभार ग्रहण करने के बाद से हालत में तब्दीली साफ दिखाई दे रही है । उत्तर प्रदेश में अल्पसंख्यक कल्याण विभाग की ओर से लगभग 1218 कार्य निर्माणाधीन हैं जिनमें 350 कार्यों को हर हाल में आगामी 3 महीने के अंदर पूर्ण कर लेने का लक्ष्य रखा गया है । इन कार्यों को पूर्ण करने में लगभग 520 करोड़ की लागत आएगी,जिसके सापेक्ष 400 करोड़ रुपए कार्यदायी संस्थाओं को अब तक रिलीज भी किए जा चुके हैं । प्रधानमंत्री जन विकास कार्यक्रम के तहत आईटीआई, इंटर कॉलेज, आंगनवाड़ी केंद्र, पेयजल और प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र आदि के निर्माण कार्य तेज़ी से चल रहे हैं। यह सभी कार्य सीएनडीएस ,वक्फ विकास निगम, यूपीआरएनएसएस ,यूपी सिडको और यूपी जल निगम आदि संस्थाओं द्वारा कराए जा रहे हैं ।
विभाग की निदेशक जे रीभा ने संबंधित अधिकारियों को स्पष्ट चेतावनी दी है कि किसी भी कार्य में लापरवाही बर्दाश्त नहीं की आएगी और न ही गुणवत्ता से कोई समझौता स्वीकार किया जाएगा। यहां यह बात काबिल ए ग़ौर है कि अल्पसंख्यक कल्याण विभाग की निदेशक जे रीभा को पदभार ग्रहण किए अभी ठीक से दो महीने भी पूरे नहीं हुए हैं, फिर भी विकास कार्यों में इतनी तेज़ी आ गई है कि लगभग 400 करोड़ रुपये जारी किये जा चुके हैं। जबकि वर्ष 2021-22 में लगभग 100 करोड़ और 2020-21 में लगभग 200 करोड़ रूपये ही खर्च किये जा सके थे। जे रीभा की छवि विभाग में एक कड़क और ईमानदार अफसर की है जो विभागीय विवादों से बचते हुए जन विकास के कार्यों में गुणवत्ता पूर्ण तेज़ी लाने की लिए जानी जाती हैं।